घर बैठे कान की समस्या करे दूर, पॉल ऑप्टिकल दे रही यह सुविधा

कांके रोड स्थित पॉल ऑप्टिकल्स में लॉन्च हुई हियरिंग ऐड क्लिनिक की अत्याधुनिक पेशकश “ईयरकार्ट ओम्नी”

रांची: झारखंड की राजधानी में आज बंगाली नव वर्ष के अवसर को ख़ास बनाते हुए शहर की प्रतिष्ठित पॉल ऑप्टिकल्स ने अपने ऑप्टिकल्स सेगमेंट में आज हियरिंग ऐड की सर्विस जोड़कर एक और उपलब्धि की शुरुआत की है. अपने दूसरे वर्षगांठ पर पॉल ऑप्टिकल्स के संचालक संजय पॉल ने अपने तीस वर्षों के अनुभव को साझा किया और बताया कि शहर का यह एकमात्र प्रतिष्ठान है, जहां अंतरराष्ट्रीय स्तर की आंखों की जांच के साथ साथ कानों की वैज्ञानिक जांच और सुनने की समस्या का भी समाधान किया जायेगा. श्री पॉल ने कहा कि वर्षगांठ के अवसर पर अगले तीन महीनों तक वैसे लोग जिन्हें कम सुनाई देती है, उनका अत्याधुनिक मशीन “ईयरकार्ट ओम्नी” से निःशुल्क जांच किया जाएगा. इसके लिए देश की अग्रणी कंपनी ईयरकार्ट के साथ पॉल ऑप्टिकल्स ने एक नई शुरुआत की है. लोग इस सुविधा का घर बैठे भी लाभ ले सकते हैं.

पॉल ऑप्टिकल्स शहर का एकमात्र एस्सिलर एक्सपर्ट स्टोर है

उन्होंने बताया कि यह झारखंड का पहला स्टोर है जहां चश्मा और हियरिंग ऐड पर फ्री इंश्योरेंस दिया जाता है. चस्मों पर एक साल का फ्री इन्शुरन्स मिलता है. एस्सिलर लक्सोटिका किसी भी तरह का नुकसान के लिए भुगतान करेगा. ग़रीबों का ख़्याल रखते हुए उन्होंने ग़रीबों को मुफ़्त सेवा देने का भी वादा किया.  बता दें कि पॉल ऑप्टिकल्स शहर का एकमात्र एस्सिलर एक्सपर्ट स्टोर है. लेंस और फ्रेम की दुनिया में एक प्रतिष्ठित मुक़ाम हासिल किए इस कंपनी ने झारखंड में पहले एस्सिलर एक्सपर्ट स्टोर के रूप में पॉल्स ऑप्टिकल (गोकुल स्वीटके ऑपोजिट, कांके रोड, रांची) का चयन किया है.

बार-बार सेटिंग बदलने की जरूरत नहीं

संजय पॉल  ने बताया कि “ईयरकार्ट की EQFY” एक अत्याधुनिक हियरिंग ऐड 16 चैनल की डीजिटल मशीन है जो ब्लू टूथ से कनेक्ट हो जाता है. ये रिचार्जेबल मशीन बार बार बैटरी बदलने के झंझट से मुक्ति दिलाती है. आज के फैशनेबल दौर को भी ध्यान में रखते हुए इसे अत्याधुनिक तकनीक का इस्तेमाल कर सुविधायुक्त और आकर्षक बनाया गया. इस मशीन को मोबाइल की मदद से प्रोग्राम कर सकते हैं और बार-बार सेटिंग बदलने के लिए नहीं जाना पड़ेगा.

जन्म से बहरेपन का भी समाधान संभव है

मोनिका मिश्रा ने बताया कि जन्मजात बहरेपन से जूझ रहे बच्चों को बोलने में भी समस्या होती है, क्योंकि जब तक उन्हें कोई ध्वनि नहीं सुनाई देती है तब तक उसका बोल पाना कठिन होता है. ऐसे बच्चों के लिए “ईयरकार्ट” कंपनी ‘लिसनिंग ईयर’ सेंटर के माध्यम से स्पीच थेरेपी की सुविधा भी देती है. मौक़े पर उपस्थित ईयरकार्ट की वाईस प्रेसिडेंट मोनिका मिश्रा ने बताया कि ईयरकार्ट के संस्थापक रोहित मिश्रा ने देश में लोगों की कान की समस्या को देखते हुए 2021 में इस कंपनी की स्थापना की थी. उन्होंने बताया कि मात्र 2 वर्षों में ये कंपनी देश भर में 1400 से ज्यादा हियरिंग ऐड क्लीनिक से जूडी है.  ‘ओम्नी’ अत्याधुनिक मशीन के बारे में जानकारी देते हुए श्रीमती मिश्रा बताती हैं कि एक टैब की तरह दिखाई देने वाली यह मशीन कान के मरीज़ों की तत्काल जांच और समाधान करने में सक्षम है. इस मशीन के माध्यम से दूर बैठे ओडोलॉजिस्ट आपसे सीधे संपर्क करते हैं और आपकी कानों की समस्या को पहचानकर हियरिंग ऐड का चुनाव करते हैं. जो आपको एक सामान्य जीवनशैली देने में सहयोग करते हैं. इस मशीन का नाम ईयरकार्ट ओम्नी है. इस मशीन को बनाने का मुख्य मक़सद है कि जहां कहीं भी मरीज़ हैं, वहां पहुंचकर उनका समुचित समाधान किया जा सके. शुरुआत में कंपनी मुफ़्त जांच की सुविधा दे रही है.

देश में कम ओडोलॉजिस्टों की समस्या देखते हुए किया गया इस मशीन को ईजाद

WHO की रिपोर्ट के अनुसार देशभर में लगभग 10 करोड़ लोगों को बहरेपन की समस्या है. लेकिन उससे भी बड़ी समस्या यह है कि ज़्यादातर लोगों को यह नहीं पता है कि इस समस्या का कैसे समाधान किया जाए. श्रीमती मिश्रा बताती हैं कि लगभग 60% भारतीयों को ऑडियोलॉजिस्ट की सुविधा उपलब्ध नहीं हैं. देश में कम ओडोलॉजिस्टों की समस्या देखते हुए इस मशीन को ईजाद किया गया, ताकि कहीं दूर बैठे ओडोलॉजिस्ट भी मरीज़ों की समस्या का वैज्ञानिक तरीक़े से समाधान कर सकें.  सामान्यतः लोग कानों की समस्या पर ध्यान नहीं देते हैं. WHO के मुताबिक़, अनूपचारित ऊंचा सुनने के कारण लोगों को डिप्रेशन, याददाश्त खोना, ब्लड प्रेशर, हार्ट स्ट्रोक, ब्रेन स्ट्रोक और चिड़चिड़ापन की समस्या पनपने लगती है. सभी को एक निर्धारित अंतराल पर अपने कानों की जांच करा लेनी चाहिए.

ये रहे मौजूद 

इस शुभ अवसर पर संजय पॉल की धर्मपत्नी अनामीका पॉल, पुत्री श्यांशी पॉल सहित डॉ पीके सिन्हा, डॉ राजीव कुमार, डॉ राज मोहन, डॉ निशित सिन्हा, रंजन एवं शहर के कई गणमान्य लोग उपस्थित रहे.