New Delhi : RJD सुप्रीमो और पूर्व रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव, उनकी पत्नी राबड़ी देवी और बेटे तेजस्वी यादव से जुड़े बहुचर्चित ‘लैंड फॉर जॉब’ भ्रष्टाचार मामले में आज यानी सोमवार को राउज एवेन्यू स्थित सीबीआई की विशेष अदालत ने आरोप तय करने के आदेश को टाल दिया है। अब इस मामले की अगली सुनवाई 4 दिसंबर को होगी। कोर्ट ने यह तय करना था कि लालू यादव और उनके परिवार सहित अन्य आरोपियों के खिलाफ औपचारिक रूप से मुकदमा चलाया जाए या नहीं, लेकिन इस पर फैसला अगली तारीख तक के लिए स्थगित कर दिया गया। सीबीआई ने इस मामले में लालू प्रसाद यादव, उनकी पत्नी पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी, बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव, राज्यसभा सांसद मीसा भारती, हेमा यादव, तेज प्रताप यादव और कई अन्य के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया है।
आज की सुनवाई में लालू यादव, राबड़ी देवी और तेजस्वी यादव अदालत में उपस्थित नहीं हुए। उनकी ओर से पेश वकील मनिंदर सिंह ने तीनों की व्यक्तिगत पेशी से छूट की मांग की, जिसे अदालत ने स्वीकार कर लिया। लालू यादव की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने दलील दी कि इस मामले में अभियोजन चलाने के लिए आवश्यक अनुमति नहीं ली गई थी, इसलिए जांच प्रक्रिया ही गैरकानूनी है। उन्होंने कहा कि बिना वैधानिक अनुमति के सीबीआई ने जांच शुरू की, जो नियमों के खिलाफ है। वहीं, सीबीआई की ओर से पेश वकील ने अदालत को बताया कि आरोप तय करने की प्रक्रिया जानबूझकर टाली जा रही है। सीबीआई का कहना है कि सभी कानूनी प्रक्रियाएं पूरी की गई हैं और आरोप तय करने के लिए पर्याप्त साक्ष्य मौजूद हैं।
इससे पहले, अदालत ने 25 अगस्त को आरोप तय करने के मामले में अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। आज तय तारीख पर आदेश टल जाने से लालू परिवार और अन्य आरोपियों की मुश्किलें फिलहाल बनी हुई हैं। अब 4 दिसंबर को यह स्पष्ट होगा कि लालू प्रसाद यादव, राबड़ी देवी, तेजस्वी यादव और अन्य के खिलाफ ‘लैंड फॉर जॉब’ मामले में मुकदमा चलेगा या नहीं।

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