Johar Live Desk : भारत में कैंसर के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं, और एक हालिया रिपोर्ट के अनुसार, पुरुषों में ओरल कैंसर (मुंह का कैंसर) सबसे आम कैंसरों में से एक बन गया है। यह कैंसर शुरुआत में मुंह के छोटे छाले जैसा दिखता है, लेकिन अगर समय पर इलाज न हो तो यह गंभीर होकर गले तक फैल सकता है। विशेषज्ञों का कहना है कि ओरल कैंसर की जल्दी पहचान और इलाज से मरीज के ठीक होने की संभावना काफी बढ़ जाती है।
ओरल कैंसर के प्रमुख कारण
रिपोर्ट के अनुसार, ओरल कैंसर के लिए सबसे बड़ा कारण तंबाकू का सेवन है। गुटखा, खैनी, जर्दा, पान मसाला, सिगरेट और बीड़ी जैसी चीजें मुंह के टिश्यूज को नुकसान पहुंचाती हैं और कैंसर का खतरा बढ़ाती हैं। इसके अलावा, शराब का सेवन, खासकर तंबाकू के साथ, इस खतरे को और बढ़ा देता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने पान-सुपारी को भी कैंसर पैदा करने वाला (कार्सिनोजेनिक) माना है।
मुंह की साफ-सफाई की कमी, जैसे दांतों की सड़न, मसूड़ों की बीमारी या नकली दांत का ठीक से फिट न होना, भी ओरल कैंसर का जोखिम बढ़ा सकता है। इसके अलावा, ह्यूमन पैपिलोमा वायरस (HPV) का इन्फेक्शन भी इसका एक कारण हो सकता है।
ओरल कैंसर के लक्षण
डॉक्टरों के अनुसार, ओरल कैंसर के शुरुआती लक्षणों को पहचानना बेहद जरूरी है। ये हैं प्रमुख लक्षण:
- मुंह में लगातार छाले या घाव : अगर मुंह, जीभ, गाल या होठों पर दो हफ्ते से ज्यादा समय तक छाला या घाव बना रहे और ठीक न हो, तो यह खतरे की घंटी हो सकता है।
- सफेद या लाल चकत्ते : मुंह के अंदर सफेद या लाल दाग दिखना, जो दर्द रहित हो, प्री-कैंसरस लक्षण हो सकते हैं।
- निगलने या चबाने में तकलीफ : खाना या पानी निगलने में परेशानी, गले में कुछ अटकने का एहसास या जबड़े की हलचल में दिक्कत।
- मुंह से खून या सुन्नपन : बिना चोट के मुंह से खून आना, मुंह में सुन्नपन या आवाज में बदलाव।
- गर्दन में गांठ : गर्दन में लगातार बढ़ने वाली गांठ, जो लिम्फ नोड्स के बढ़ने का संकेत हो सकती है।
बचाव और इलाज
विशेषज्ञों का कहना है कि अगर ओरल कैंसर का शुरुआती चरण में पता चल जाए, तो इसका इलाज संभव है और मरीज के ठीक होने की संभावना बहुत ज्यादा होती है। तंबाकू और शराब से दूरी, मुंह की नियमित सफाई और संदिग्ध लक्षण दिखने पर तुरंत डॉक्टर से जांच करवाना जरूरी है।
जागरूकता की जरूरत
स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने लोगों से अपील की है कि तंबाकू और शराब के सेवन से बचें और मुंह में किसी भी असामान्य लक्षण को नजरअंदाज न करें। समय पर जांच और इलाज से न केवल ओरल कैंसर को रोका जा सकता है, बल्कि लाखों जिंदगियां भी बचाई जा सकती हैं।
Disclaimer : इस लेख में दी गई जानकारी, सुझाव और सलाह केवल सामान्य सूचना के उद्देश्य से प्रदान की गई है। किसी भी स्वास्थ्य समस्या या उपचार से संबंधित निर्णय लेने से पहले अपने डॉक्टर से परामर्श अवश्य लें।
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