Johar Live Desk : मानसून की बारिश ने जहां गर्मी से राहत दी है, वहीं फंगल इंफेक्शन जैसी स्वास्थ्य समस्याएं भी बढ़ रही हैं। नमी, गर्मी और पसीने के कारण फंगल इंफेक्शन तेजी से फैल रहा है, जो त्वचा, नाखूनों और शरीर के संवेदनशील हिस्सों को प्रभावित करता है। विशेषज्ञ के अनुसार फंगल इंफेक्शन कैंडिडा और डर्मेटोफाइट्स जैसे फंगस से होता है, जो नम जगहों पर पनपते हैं। गीले जूते-मोजे, टाइट कपड़े और शरीर को ठीक से न सुखाना इसके मुख्य कारण हैं। इससे दाद, एथलीट फुट और त्वचा पर रैशेज की समस्या हो सकती है।
इन लक्षणों को न करें नजरअंदाज :
- त्वचा पर लाल, खुजलीदार या फटी सतह
- नाखूनों का रंग बदलना या मोटा होना
- गोल दाने, जिनके बीच की त्वचा साफ हो
- बगल, जांघों या कमर में लगातार खुजली
बचाव के आसान उपाय :
- नहाने के बाद शरीर, खासकर पैरों की उंगलियों और सिलवटों को अच्छे से सुखाएं।
- ढीले, सूती कपड़े पहनें और गीले कपड़े-जूते जल्दी बदलें।
- दिन में दो बार नहाएं, खासकर जिम या बाहर खेलने के बाद।
- एंटी-फंगल पाउडर का इस्तेमाल करें।
- तौलिया, मोजे, जूते जैसी निजी चीजें शेयर न करें।
- नाखून छोटे और साफ रखें।
डायबिटीज रोगियों के लिए खास सावधानी
डायबिटीज के मरीजों को फंगल इंफेक्शन का खतरा ज्यादा होता है। बिना डॉक्टर की सलाह के कोई क्रीम या दवा न लें, क्योंकि स्टेरॉयड वाली दवाएं इंफेक्शन को और बिगाड़ सकती हैं। अगर लक्षण बार-बार लौटें या त्वचा का रंग बदले, तो तुरंत त्वचा विशेषज्ञ से संपर्क करें।
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