Patna : बिहार में आगामी विधानसभा चुनाव की तैयारियों के तहत चुनाव आयोग ने राज्यभर में इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीनों (EVM) की प्रथम चरण की जांच सफलतापूर्वक पूरी कर ली है। यह प्रक्रिया 2 मई से 30 जून तक चली और 25 जून को तय समय से पहले समाप्त हो गई। जांच के दौरान कुल 4,41,540 EVM की जांच की गई, जिनमें से 85% मशीनें पूरी तरह मतदान के लिए तैयार और अच्छी स्थिति में पाई गईं। शेष मशीनों को मरम्मत के लिए भेजा गया है।
38 जिलों में EVM
चुनाव आयोग के निर्देशानुसार राज्य के 38 जिलों में रखी गई 1,76,506 बैलेट यूनिट, 1,28,726 कंट्रोल यूनिट और 1,36,317 वीवीपैट मशीनों की गहन जांच की गई। यह जांच मतदान के दौरान तकनीकी खराबी से बचने के लिए अनिवार्य रूप से की जाती है। जांच प्रक्रिया में इलेक्ट्रॉनिक्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (ECIL) के इंजीनियरों के साथ-साथ जिला निर्वाचन अधिकारी, राजनीतिक दलों के प्रतिनिधि और बूथ लेवल एजेंट्स शामिल रहे। पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए पूरी प्रक्रिया की लाइव वीडियो मॉनिटरिंग भी की गई।
EVM जांच में प्रमुख दलों की सक्रिय भागीदारी
राजनीतिक दलों की भागीदारी जांच प्रक्रिया में भाजपा, राजद, कांग्रेस, जदयू, बसपा और माकपा जैसे प्रमुख दलों ने सक्रिय रूप से हिस्सा लिया। वहीं, आम आदमी पार्टी, राष्ट्रीय लोक समता पार्टी और राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी की भागीदारी सीमित रही। नेशनल पीपुल्स पार्टी ने किसी भी जिले में इस प्रक्रिया में हिस्सा नहीं लिया।
जांच रिपोर्ट सार्वजनिक पोर्टल पर उपलब्ध
प्रक्रिया की समीक्षा और पारदर्शिता मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी विनोद सिंह गुंजियाल ने राजनीतिक दलों के साथ कई दौर की बैठकों में प्रक्रिया की प्रगति की समीक्षा की। जांच के बाद सही पाई गई मशीनों की सूची सभी दलों को उपलब्ध करा दी गई है। साथ ही, इस सूची को ईएमएस 2.0 पोर्टल पर अपलोड किया गया है, जहां से कोई भी व्यक्ति मशीनों की स्थिति की जानकारी प्राप्त कर सकता है। चुनाव आयोग ने कहा कि यह कदम निष्पक्ष और सुचारू मतदान प्रक्रिया सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है। मरम्मत के लिए भेजी गई मशीनों की दोबारा जांच जल्द पूरी की जाएगी, ताकि विधानसभा चुनाव में किसी भी तरह की तकनीकी बाधा न आए।
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