Pakur : झारखंड के पाकुड़ जिला प्रशासन ने दुर्गापूजा 2025 को और भव्य बनाने के लिए एक अनूठी पहल शुरू की है। शहरी व ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता, सुरक्षा और सामाजिक जिम्मेदारी को बढ़ावा देने के उद्देश्य से सर्वश्रेष्ठ पूजा पंडालों को पुरस्कृत किया जाएगा। यह पुरस्कार उन समितियों को दिए जाएंगे जो कलात्मकता, भक्ति के साथ-साथ पर्यावरण और समाज के प्रति जिम्मेदारी भी निभाती हैं। DC मनीष कुमार ने सभी पूजा समितियों से इस पहल में सक्रिय भाग लेने की अपील की है।
पंडालों की श्रेणियां
पूजा पंडालों को श्रद्धालुओं की संख्या के आधार पर तीन श्रेणियों में बांटा गया है :
- छोटे पंडाल : 1000-1500 श्रद्धालु
- मध्यम पंडाल : 1000-5000 श्रद्धालु
- बड़े पंडाल : 5000 से अधिक श्रद्धालु
मूल्यांकन प्रक्रिया
पंडालों का मूल्यांकन निष्पक्ष तरीके से होगा :

- आत्म-मूल्यांकन : पूजा समितियां गूगल शीट/डॉक्यूमेंट से फॉर्म भरेंगी (50% वेटेज)।
- जिला टीम का मूल्यांकन : गठित टीम पंडालों का दौरा करेगी (30% वेटेज)।
- जन प्रतिक्रिया : श्रद्धालु QR कोड स्कैन कर रेटिंग देंगे (20% वेटेज)।
गूगल शीट और QR कोड जिला प्रशासन उपलब्ध कराएगा। मूल्यांकन के लिए पांच सदस्यीय समिति गठित की गई है।
पुरस्कार के मापदंड
पुरस्कार सामाजिक, पर्यावरणीय और सांस्कृतिक मानदंडों पर आधारित होंगे। प्रमुख बिंदु :
- सामाजिक कार्य : रक्तदान शिविर (प्रति 5 यूनिट 1 अंक, अपेक्षित 25 यूनिट=5 अंक), टीबी मरीज गोद लेना (10 मरीज=5 अंक)।
- बायोडिग्रेडेबल सामग्री : मूर्ति में पर्यावरण-अनुकूल सामग्री, प्लास्टिक-मुक्त, डोना/पेपर प्लेट, सूती कपड़ा का उपयोग=5 अंक।
- जागरूकता अभियान : होर्डिंग/फ्लैक्स पर बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ, पोषण माह, कालाजार/टीबी जागरूकता=10 अंक।
- साफ-सफाई : पंडाल आसपास सफाई, डस्टबिन, साइनेज=10 अंक।
- प्रमाण पत्र : तंबाकू मुक्त, बाल श्रम मुक्त, नशा मुक्ति आदि=10 अंक।
- सीसीटीवी कवरेज : पूरा पंडाल कवर, कंट्रोल रूम=10 अंक।
- प्रबंधन : अलग प्रवेश गेट, स्वयंसेवक कार्ड/टी-शर्ट=5 अंक।
- हेल्प/मेडिकल डेस्क : योजना घोषणा, खोया-पाया, शुद्ध पानी=5 अंक।
- संस्कृति : भक्ति जागरण, पारंपरिक प्रसाद, पेयजल=5 अंक।
- प्रकाश/ध्वनि : बिना कवर तार न हों, रात 10 बजे बाद लाउडस्पीकर बंद, विसर्जन में DJ न हो=10 अंक।
- शपथ : कॉमन/कर्मयोगी शपथ=5 अंक।
- विसर्जन : सुव्यवस्थित वाहन, रूट/समय=10 अंक।
- यातायात/भीड़ प्रबंधन : पार्किंग, लाइव शो न हो, स्वयंसेवक यातायात=5 अंक।
पुरस्कार वितरण
हर श्रेणी में प्रथम, द्वितीय, तृतीय, चतुर्थ, पंचम स्थान वाले पंडालों को पुरस्कार मिलेंगे। साथ ही तीन सांत्वना पुरस्कार भी। वितरण 15 अक्टूबर 2025 को होगा।
DC की अपील
DC मनीष कुमार ने कहा, “दुर्गापूजा केवल भक्ति का पर्व नहीं, बल्कि स्वच्छता, सुरक्षा और सामाजिक जिम्मेदारी का माध्यम भी है। सभी समितियां अपने पंडालों को पर्यावरण-अनुकूल और सुरक्षित बनाएं।”
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